रामधारी सिंह दिनकर के प्रेरक कथन

दोस्तो आज हिंदी  के जाने माने कवि रामधारी सिंह दिनकर की पुण्यतिथी है दिनकर जी छायावाद के प्रसिद्ध कवि माने जाते थे इसके साथ उन्होने समय समय पर वीर रस की कविताओ और गध का भी लेखन कार्य किया था आज में आपके सामने उनके कुछ विचार प्रस्तुत करने जा रहा हूँ     रामधारी सिंह दिनकर के प्रेरक वचन

1. जब लोग तुम्हारी बुराई जोरो - शोरो के साथ करें तो समझ जाना तुम्हारा लेखन 

सफल हुआ है  -  रामधारी सिंह दिनकर

2.  जीवन में जो भी बडे काम है उन्हे करने से कोई फायदा नही और जिन कार्यो को करने से फयदा है वे बडे नही है -रामधारी सिंह दिनकर

3. जिस व्यक्ति के अंदर भावनायें नही है और जो व्यक्ति अपने देश से प्यार नही करता या देश से लगाव नही रखता उसका दिल एक पत्थर के समान है -रामधारी सिंह दिनकर

4. हम बातो से हारने वालो में से नही है  पर अगर कोई चाहे तो मधुर व्यवहार से हमे अपने वस में कर सकता है - रामधारी सिंह दिनकर

5. स्वतंत्रता ऐसी चीज नही है जो भूख को मिटा दे और  स्वतंत्रता और भूख मिटाने वाली रोटी के बीच आपस में कोई झगडा नही  लेकिन अगर भूख जोर से लगे तो आजादी का कोई फयदा नही - रामधारी सिंह दिनकर

6. मौका कोई ऐसी चीज नही जो भोजन के जैसे सामने परोसा जाए उसे पाने के लिए मेंहनत करनी पडती है अपने गुणो क विकास करना पड़ता है - रामधारी सिंह दिनकर

7 बुराई और व्यंग के बीच एक गहरा रिशता है  जो व्यक्ति बुराई करना जानता है वह एक कुशल व्यंगक भी होता है - रामधारी सिंह दिनकर

8 दूसरो का बुरा करने वाले खुद का भला नही कर सकते अपना भला करने के लिए उन्हे सच के रास्ते पर चलना होगा अपना चरित्र निखारना होगा - रामधारी सिंह दिनकर

9. अपनी इच्छाओ को मत दवाओ मेहनत करो जिससे की तुम्हारी हर इच्छा पूरी हो सके - रामधारी सिंह दिनकर

10. एक साधु और एक ब्राम्हन में उतना ही फर्क होता है जितना दिमाग और दिल में होता है जिस बात को कभी कभी दिमाग नही समझ पाता उसे दिल पहचान जाता है - 
रामधारी सिंह दिनकर

आशा करता हूँ आपको दिनकर जी  के विचार जरुर पसंद आएँगे आप हमे बताइए आपको उनके विचार कैसे लगे अगर आप हमे कोई सुझाव देना चाहते हैं तो आप Nagarajeetnagar@gmail.com पर मेल कर सकते हैं अगर आपके पास भी कोई लेख हैं तो आप हमे मेल करें हम उसे आपके नाम के साथ नया सवेरा पे पब्लिश करेंगे

Comments